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जो दुर्दांत खुनी योद्धा से धर्म-प्रचारक बने तो |
अशोक-दी-ग्रेट |
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जो अलेक्सजैंडर (सिकन्दर) के विजय रथ को चेता दे, और उसे आंधी से तूफ़ान बना भारत से भगोड़ा बना दे तो |
क्रमश: राजा पोरस व् सिन्धी जाट |
जो अंग्रेजों के राज के कभी ना छुपने वाले सूरज को छिपा दे तो |
महाराजा रणजीत सिंह लोहागढ़ |
जिसका नाम सुनते ही दुश्मनों को अल्लाह याद आ जाए तो |
जाट अफलातून महाराजा सूरजमल |
जो भगवान से भी खेत जुतवा दे तो |
जाट धन्ना भगत |
जो खाप जैसे विश्व के सबसे बड़े सोशल इंजिनियर सिस्टम को प्रफुल्लित कर दे तो |
महाराजा हर्षवर्धन सिंह बैंस |
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जो समाज में पुरुष-महिला शिक्षा के प्रकाश हेतु खापलैंड की हर दस-कोष पे गुरुकुल खुलवा दे तो |
खाप |
जो अपने घायल भाइयों (मराठों) की मरह्म्म-पट्टी के लिए अहमदशाह अब्दाली से दुश्मनी मोल ले तो |
जाट अफलातून महाराजा सूरजमल |
जिसके रहते अंग्रेज पंजाब में घुस तक ना पायें तो |
शेर-ए-पंजाब महाराजा रणजीत सिंह |
जो पृथ्वीराज के खून का बदला ले मोहम्मद गौरी की गर्दन उतार ले तो |
खोखर जाट |
सोमनाथ के मंदिर की लूट को महमूद गजनवी के जबाड़े से निकाल लाये व् जिसके दर पे ‘बाबर’ भी शीश नवाए तो |
सर्वखाप |
जो औरंगजेब के पंजों से हिन्दू धर्म का अस्तित्व बचाने हेतु सर्वप्रथम अपनी कुर्बानी दे तो |
समरवीर ज्योति गोकुला जी महाराज |
जो औरंगजेब का अभिमान चूर कर दे तो |
राजाराम जी |
जो दिल्ली में अंग्रेजों को शांति-संधि के लिए मजबूर कर सफेद झंडे उठवा दे तो |
वल्लभगढ नरेश नाहर सिंह |
जिसका क्रोध जब दिल्ली पे टूटे तो दिल्ली को हराकर, लाल किले के किवाड़ नजराने के लिए उतार लाये तो |
महराजा जवाहर सिंह सिनसिनवार |
जो हिन्दू-सिख धर्म की बेटियों से कोला पूजवाने वालों की रियासत कलानौर की बोर निकाल दे तो |
दादा धौला सिंह जी (गठ्वाला खाप नेतृत्व) |
जो मुस्लिम-हिन्दू किसान एकता की पताका उठा गाँधी-नेहरु-जिन्ना के सपनों को जीते-जी साकार ना होने दे तो |
रहबर-ए-हिन्द सर छोटूराम |
जो नेता जी की आज़ाद हिन्द फ़ौज को विदेश में शून्य से तैयार करवा दे तो |
मुरसन नरेश महेन्द्र प्रताप |
जो अंग्रेजों के बहरे कानों को गूंजा दे और जेल सुधार कानून लगवा दे तो |
शहीद-ए-आज़म भगत सिंह |
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…………………बाकी अगली बार |