भारत वर्ष सहित पूरे संसार में 90 करोड़ लोग ऐसे है, जो अपने आप को सनातन धर्म का अनुयायी कहते है, लेकिन वे सनातन धर्म के मूल सिद्धांतों को जानते ही नहीं है। सनातन धर्म का अर्थ वैदिक धर्म है और वेद सदा से ही चले आ रहे है। वेदों के सिद्धांत पर चलना ही सनातन धर्म है, क्योंकि वेद और सनातम धर्म एक दूसरे के पूरक है। दुर्भाग्य की बात है कि 90 करोड़ की विशाल आबादी अलग-अलग विचारधारा में बंटी हुई है और अंध-विश्वास में जीवन यापन कर रही है। वह स्वयं दुख उठा रहे है और समाज व राष्ट्र को भी दुख में ही धकेले हुए हैं। अगर इन 90 करोड़ लोगों का उत्थान तुम चाहते हो तो, सभी आर्य व आर्याओं को सनातन धर्म का परिचय करवाना होगा। इसी हेतु इस सूत्र को प्रारंभ किया जा रहा है| आशा एवं विश्वास है हम सब मिलकर कोटि कोटि जन को एकता के सूत्र में पिरो पाएंगे|