Ganga Ram Dookiya

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लेखक:लक्ष्मण बुरड़क, IFS (R)
Ganga Ram Chaudhary

Ganga Ram Chaudhary (Dookiya) (born:1.3.1922 - died: 26.3.2014) was a social worker, politician, and former Cabinet Minister of Revenue from Government of Rajasthan. Earlier he was an advocate. He was born in the family of Ram Dan Dookiya, a reputed social worker of Marwar, from Kharin, Barmer, Rajasthan.

जीवन परिचय

गंगाराम चौधरी का जन्म राजस्थान के बाड़मेर जिले की रामसर तहसील के खडीन) गाँव में 1 मार्च 1922 को मालानी के किसान क्रांति के जनक रामदान चौधरी (डऊकिया) और किस्तुरी देवी भाकर के घर हुआ. रामदान चौधरी (डऊकिया) के पांच पुत्र थे :

  1. केसरी मल,
  2. लालसिंह हाकम,
  3. गंगाराम,
  4. फ़तेह सिंह और
  5. खंगारमल.

वकालत से जनसेवा

गंगाराम चौधरी ने बी.ए. एल.एल.बी. की डिग्रियां हासिल कर वकालत को अपना पैसा बनाया. इससे पूर्व आपने रेलवे में एल.डी.सी. का कार्य किया. जागीरदारी के समय किसानों पर होने वाले अत्याचारों, चौरी-डकैती, जमीन सम्बन्धी विवादों की न्यायलय में पुरजोर पैरवी की, गरीब किसानों की निशुल्क पैरवी की. सीमान्त क्षेत्र में आत्मरक्षार्थ बन्दूक लाईसेंस दिलवाया. पिताजी रामदान चौधरी के नेतृत्व में किसान सभा एवं किसान जाग्रति हेतु आपने इतने काम करवाए कि आज आप राजस्व के टोडर मल कहे जाते हैं.

राजनीति में

बाद में गंगाराम चौधरी ने राजनीती में आकर राजस्थान के विभिन्न विभागों में मंत्री रहकर जनता की सेवा की. आपने 30 वर्ष तक राजस्थान विधान सभा में बाड़मेर का प्रनिनिधित्व किया तथा 13 वर्ष मंत्रिमंडल के सदस्य रहे.

  • 1959 जनप्रतिनिधि के रूप में आपका पदार्पण धोरीमन्ना पंचायत समिति के प्रधान के रूप में 1959 में हुआ.
  • 1962 में गुढ़ा मालानी से विधायक, 1980 तक लगातार गुढा मालानी व बाड़मेर से विधायक बन विधान सभा में प्रतिनिधित्व किया.
  • 1967 में राजस्व उप-मंत्री बने.
  • 1977 में कांग्रेस छोड़कर चरण सिंह के साथ कांग्रेस (अर्स) में आये.
  • 1985 में बाड़मेर से विधायक चुने गए.
  • 1985 -1990 तक लोकदल के सदस्य रहे
  • 1990 - 1992 तक जनता दल के सदस्य रहे.
  • शेखावत सरकार में 24 नवम्बर 1990 से 15 दिसंबर 1992 तक राजस्व, भूमि सुधार एवं उपनिवेश विभागों में मंत्री रहे.
  • 1993 में निर्दलीय विधायक चुने गए और शेखावत सरकार में समर्थन देकर राजस्व एवं उपनिवेश विभागों में मंत्री रहे.
  • 31 अगस्त 1998 को 20 वर्ष बाद कांग्रेस में आये तथा बाड़मेर जिला परिषद् के प्रमुख बने.
  • दिसंबर 2003 में भाजपा में आकर चोहटन विधायक बने.[1]

सन्दर्भ  : यह लेख मुख्यतया जोगाराम सारण: बाड़मेर के जाट गौरव, खेमा बाबा प्रकाशन, गरल (बाड़मेर), 2009 , पृ. 223-224 पर आधारित है।

मृत्यु

उनका देहांत 26 मार्च 2014 को हुआ। पूर्व राजस्व मंत्री व किसान नेता गंगाराम चौधरी का 26 मार्च 2014 को रात 10 बजे जोधपुर के गोयल अस्पताल में निधन हो गया। वे 92 वर्ष के थे। उनके परिवार में पौत्र डॉ. जय चौधरी, पौत्री डॉ. प्रियंका चौधरी, पड़ पौत्र रोहन, पड़ प्रियांशी चौधरी, पड़ दोहिता हिरल है। पिछले 10 दिनों से गंगाराम की तबीयत नाजुक होने से उनका जोधपुर के गोयल हॉस्पिटल में इलाज चल रहा था। पार्थिक शरीर को किसान छात्रावास बलदेव नगर में दर्शन के लिए रखा गया। वहीं शाम 4 अंतिम यात्रा निकाली गई। अब तक 8 बार विधायक, 3 बार मंत्री, 2 बार जिला प्रमुख और 1 बार प्रधान रहे।[2]

मारवाड़ के कद्दावर जाट नेता गंगाराम चौधरी ने अपनी राजनीतिक जीवन यात्रा 1951 में शुरू की। इस साल वे जिला सहकार संघ के अध्यक्ष बने। फिर उन्होंने पीछे मुड़कर नहीं देखा। वे आठ बार विधायक और तीन बार मंत्री रहे। उन्होंने सरकार में जलदाय व राजस्व जैसे महत्वपूर्ण महकमों की जिम्मेदारी संभाली। राजनीति उन्हें विरासत में मिली। उनके पिता रामदान चौधरी भी विधायक रहे। उनके निधन से मारवाड़ में शोक की लहर छा गई। चौधरी के रिश्तेदार राजेश चौधरी ने बताया कि पार्थिव देह को गुरूवार सुबह बाड़मेर लाया गया। [3]

पिक्चर गैलरी

सन्दर्भ


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